बहुत अच्छा! सुंदर, चिट्ठों की दुनिया में स्वागत है। चिट्ठाजगत से जुडऩे के बाद मैंने खुद को हमेशा खुद को जिज्ञासु पाया। चिट्ठा के उन दोस्तों से मिलने की तलब, जो अपने लेखन से रू-ब-रू होने का मौका दे रहे है का एहसास हुआ। आप भी इस विशाल सागर शब्दों के खूब गोते लगाएं। मिलते रहेंगे। शुभकामनाएं।
एक कहानी…
जिसमें कोई किरदार नहीं,
एक बादल जिसमें
नमी की एक बूँद नहीं,
एक समन्दर…
जिसमें सब कुछ है,
जिसके लिए कुछ नहीं,
और ऐसा ही सब कुछ…
नाम है "रामकृष्ण गौतम"...
एक अधूरा ख्वाब!
Mobile - +919981782045, +918109412845
4 टिप्पणियां:
वर्चुअल जगत में आपकी चित्रमय अभिव्यक्ति का स्वागत है !
बहुत ही सुंदर ब्लॉग. स्वागत अपनी विरासत को समर्पित मेरे ब्लॉग पर भी.
सुन्दर चित्रांजली है गौतम साहब बिल्कुल आपही की तरह । बहुत ख़ूब।
बहुत अच्छा! सुंदर, चिट्ठों की दुनिया में स्वागत है। चिट्ठाजगत से जुडऩे के बाद मैंने खुद को हमेशा खुद को जिज्ञासु पाया। चिट्ठा के उन दोस्तों से मिलने की तलब, जो अपने लेखन से रू-ब-रू होने का मौका दे रहे है का एहसास हुआ। आप भी इस विशाल सागर शब्दों के खूब गोते लगाएं। मिलते रहेंगे। शुभकामनाएं।
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